क्या मोदी बीजेपी के स्टार प्रचारक भावशून्य हो गये हैं तभी बना रहे घिनौने अपराधी को मांझी
खरी-अखरी (सवाल उठाते हैं पालकी नहीं)
लगता तो यही है कि अब मोदी बीजेपी के लोगों को ही मोदी की लोकप्रियता पर भरोसा नहीं रह गया है तभी तो स्त्रियों के मान सम्मान और सुरक्षा की डींगें हांकने वाली मोदी बीजेपी सरकार बलात्कारियों और हत्यारों के भरोसे चुनावी नैया पार करना चाहती है। क्या राम रहीम सिंह बीजेपी का अघोषित स्टार प्रचारक नम्बर एक है या तुरुप का इक्का है ? जहां तक चुनाव आयोग की बात है तो वह 2014 के बाद से ही रीढ विहीनता का शिकार होकर कठपुतली की तरह मोदी सरकार के ईशारे पर नाचते हुए दिखाई दे रहा है।
नरेन्द्र मोदी के पतित होते आभामंडल का इससे बड़ा सबूत क्या हो सकता है कि अब तो भाजपा की स्टार प्रचारक की लिस्ट में शामिल नेता ही मोदी और शाह के कहे को झुठलाने लगे हैं। हरियाणा विधानसभा चुनाव में पंचकूला विधानसभा सीट से चुनाव लड़ रहे बीजेपी उम्मीदवार ज्ञानचंद गुप्ता के लिए वोट मांगने आये हिमाचल प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष डॉ राजीव विंदल से पत्रवार्ता में खबरी प्रसाद समाचार पत्र के प्रतिनिधि ने जब मोदी उवाच 15 लाख रुपये का सवाल उठाया तो विंदल ने सिरे से ही नकार दिया कि मोदी ने ऐसा कुछ कहा है। जब पत्र प्रतिनिधि ने मोदी के 15 लाख रुपये देशवासियों के खाते में जमा होने और अमित शाह द्वारा मोदी के (15 लाख रुपये वाले बयान) कहे को चुनावी जुमला कहने वाला वीडियो/आडियो दिखाना चाहा तो राजीव प्रेसवार्ता ही समाप्त कर चलते बने। हिमाचल बीजेपी प्रमुख राजीव विंदल पूरे टाईम हरियाणा के दस साला कार्यकाल की उपलब्धियों पर प्रकाश डालने के बजाय हिमाचल की कांग्रेसी सरकार को कोसते रहे।
आज शाम चुनावी शोरगुल थम जायेगा। 5 अक्टूबर को डाले जाने वाले वोट के नतीजे ही तय करेंगे कि हरियाणा के वोटर पर बीजेपी के घोषित और अघोषित टाप स्टार प्रचारक का कितना प्रभाव पड़ा। बीजेपी की नई नवेली सांसद कंगना और घिसे-पिटे बुजुर्ग नेता खट्टर के किसानों पर दागे गये जहरीले तीरों का क्या असर हुआ।
अश्वनी बडगैया अधिवक्ता
स्वतंत्र पत्रकार
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